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Himachal Pradesh CM not getting samosa anti government act notice issued to 5 policemen after CID investigation
नई दिल्ली। हिमाचल प्रदेश के सीएम के समोसे पर विवाद शुरू हो गया। मुख्यमंत्री सुक्खू के लिए लाए गए समोसे और केक पुलिसवालों ने खा लिये, जिस पर CM सुक्खू के समोसे कौन खा गया ? को लेकर सीआईडी जांच भी बैठा दी गई। वहीं सीआईडी की इस जांच रिपोर्ट में समोसे खाने को सरकार विरोधी काम बताया गया। वहीं अब इस मामले में 5 पुलिसकर्मियों को कारण बताओ नोटिस जारी कर दिया गया हैं। वहीं उन पर आगे भी कार्रवाई होने के आसार बताये जा रहे है।
जानकारी के अनुसार, समोसा स्कैंडल से जुड़ा यह पूरा मामला 21 अक्टूबर 2024 का बताया जा रहा हैं। दरअसल, इस दिन सीएम सुक्खू को प्रदेश की सीआईडी के एक कायर्क्रम में शामिल होना था, जिसके लिए वह सीआईडी मुख्यालय भी पहुँचे थे। इस दौरान उनके खाने-पीने का इंतजाम भी किया जाना था।
सीआईडी मुख्यालय में IG रैंक के एक पुलिस अधिकारी ने सीएम सुक्खू के लिए नाश्ता लाने का आदेश एक एसआई को दिया था। उसने यह आदेश आगे एक एएसआई और कॉन्स्टेबल को दे दिया। वहीं दोनों मिलकर शिमला के रेडिसन ब्लूहोटल से समोसे और केक के तीन डिब्बे लेकर आ गए। इसके बाद यह समोसे सीएम सुक्खू को ना दे कर अन्य पुलिस वालों में बाँट दिया गया। जिससे सीएम समेत बाकी VVIP को समोसे से वंचित रहना पड़ा। जिसके बाद बवाल हो गया और सीआईडी टीम की जाँच बैठा दी गई। सीआईडी ने जाँच पूरी करके अपनी रिपोर्ट सौंप दी है।
सीआईडी रिपोर्ट में कहा गया हैं कि, पुलिस वालों को बताया गया था कि, सीएम के खाने के मेन्यु में समोसे शामिल नहीं हैं। इसी के बाद यह गड़बड़ी हुई। मामले में अब पाँच पुलिस कर्मियों को नोटिस थमाया गया है और उनसे 10 दिन के भीतर जवाब देने को कहा गया है। सीआईडी की रिपोर्ट में समोसे की गड़बड़ी को सरकार और सीआईडी विरोधी काम बताया गया है।
वहीं अब इस पूरे मामले में भाजपा ने कांग्रेस सरकार पर हमला बोला है। बता दें कि, भाजपा प्रवक्ता रणधीर शर्मा ने कहा है कि, राज्य कांग्रेस सरकार जनता की समस्याओं को छोड़ कर, समोसा किसको मिले, इसकी चिंता कर रही है। उन्होंने कहा, “हिमाचल प्रदेश की जनता परेशान है और हंसी की बात तो ये है कि, सरकार को मुख्यमंत्री के समोसे की चिंता है ..... ऐसा लगता है कि, सरकार को किसी भी विकासात्मक कार्यों की चिंता नहीं है, केवल मात्र अपने खानपान की चिंता है… समोसे गलती से मुख्यमंत्री के बजाय उनके सुरक्षा कर्मचारियों के पास पहुंच गए। जिसकी सीआईडी जांच करवा दी गई। जाँच में इस गलती को ‘सरकार विरोधी’ कृत्य करार दिया गया, यह अपने आप में ही एक बड़ा शब्द है।”