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Cloudburst and heavy rain in Dehradun, 18 dead, 16 missing
देहरादून। सोमवार रात से मंगलवार सुबह तक देहरादून जिले में कुदरत का कहर बरपा। बादल फटने और अतिवृष्टि से नदियां उफान पर आ गईं, जबकि सहस्रधारा, मसूरी और आसपास के क्षेत्रों में भूस्खलन से भारी तबाही मच गई। इस आपदा में अब तक 18 लोगों की मौत हो चुकी है, वहीं 16 लोग लापता बताए जा रहे हैं। हालांकि प्रशासन की ओर से 13 मौत और 16 लापता होने का आधिकारिक आंकड़ा जारी किया गया है।
भारी बारिश से नदियों का जलस्तर अचानक बढ़ गया। भूस्खलन और मलबे की चपेट में आने से कई मकान और दुकानें क्षतिग्रस्त हुईं। मसूरी, सहस्रधारा और विकासनगर का राजधानी से संपर्क कट गया, क्योंकि कई जगह सड़कें और पुल बह गए।
देहरादून-हरिद्वार हाईवे भी डोईवाला के पास भूस्खलन की चपेट में आकर खतरे में है।
तमसा नदी की बाढ़ ने टपकेश्वर महादेव मंदिर और आसपास क्षेत्र को भारी नुकसान पहुंचाया है। मंदिर परिसर का हिस्सा पानी में डूब गया और श्रद्धालुओं को तत्काल सुरक्षित स्थानों पर भेजा गया।
प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी और केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी से बात कर हालात की जानकारी ली और हर संभव मदद का भरोसा दिलाया। राहत और बचाव कार्य के लिए एसडीआरएफ और एनडीआरएफ की टीमें लगातार तैनात हैं।
सोमवार रात करीब 10 बजे से मंगलवार सुबह तक सिर्फ सहस्रधारा क्षेत्र में ही 264 मिमी बारिश दर्ज की गई। विशेषज्ञों के अनुसार यह अत्यधिक वर्षा है, जिसने नदियों और पहाड़ों पर दबाव बढ़ा दिया।